Jhansi: बुंदेली कला को नई पहचान दे रही हैं झांसी की अनुजा सक्सेना, जानें पूरी कहानी

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रिपोर्ट:शाश्वत सिंह

झांसी. यूपी के झांसी की अनुजा सक्सेना बुंदेली चित्रकला को एक नई पहचान दे रही हैं. वह बुंदेली चितेरी और अन्य कलाओं को नाइफ आर्ट की मदद से एक मॉडर्न टच दे रही हैं. NEWS 18 LOCAL से खास बातचीत में बताया कि वह पिछले कई सालों से नाइफ आर्ट पर काम कर रही हैं. शुरुआत में उन्होंने लैंडस्केप और अब्स्ट्रैकट आर्ट पर काम किया. इस दौरान वह कई अन्य राज्यों में भी गईं. वहां उन्होंने देखा कि लोग किस प्रकार अपनी पारंपरिक कला को भी मॉडर्न टच देकर दुनिया तक पहुंचा रहे हैं. यहीं से उन्होंने बुंदेली लोककला पर काम करने का निर्णय लिया. उन्होंने पारंपरिक बुंदेली चितेरी को नाइफ आर्ट की मदद से एक नया रूप देना शुरू किया.

आज वो नाइफ आर्ट से दीवारों पर बनने वाली बुंदेली चितेरी को कैनवास पर उकेरती हैं. पेन्टिंग देखने में इतनी जीवंत लगती हैं मानो यथार्थ में आप उन्हें देख रहे हों. अनुजा ने बताया कि नाइफ आर्ट को बनाना आसान नहीं होता. ब्रश से पेंटिंग करने और नाइफ से पेंटिंग करने में काफी अंतर होता है.बुंदेली चितेरी की बारीकियों को कैनवास पर उतारना अनुजा के लिए आसान नहीं था, लेकिन उन्होंने पूरी शिद्दत से इस काम को किया.

बच्चों के हुनर को दीजिए प्रोत्साहन
अनुजा अपनी इस कामयाबी का पूरा श्रेय अपने माता पिता को देती हैं. वह कहती हैं कि अगर उनके घर से उन्हें समर्थन नहीं मिला होता तो शायद वह इतना काम कभी नहीं कर पातीं. वह कहती हैं कि हर माता पिता को अपने बच्चों के हुनर को प्रोत्साहन देना चाहिए, इससे उन्हें बेहतर करने का प्रोत्साहन मिलता है.

Tags: Bundelkhand, Jhansi news



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