लखनऊ. जेल में बंद माफिया डॉन मुख्तार अंसारी के बेटे अब्बास अंसारी को लेकर एक बड़ी खबर सामने आ रही है. अब्बास अंसारी (Abbas Ansari) पर चुनावी हलफनामे में गलत जानकारी देने के आरोप लग रहे हैं. इसके साथ ही उनके विधानसभा चुनाव लड़ने पर भी संशय के बादल मंडराने लगे हैं. छानबीन में अगर आरोप सही पाए जाते हैं तो उन्हें चुनाव लड़ने से रोका भी जा सकता है. दरअसल, अब्बास अंसारी पर शस्त्र लाइसेंस (Arms Licence) को लेकर हलफनामे में झूठी जानकारी देने का आरोप लगा है. उनके हलफनामे पर ही सवाल उठने लगे हैं. बता दें कि विधायक मुख्तार अंसारी ने इस बार खुद चुनाव नहीं लड़ने का फैसला किया है. ऐसे में अब्बास अंसारी चुनाव मैदान में उतरे हैं. लेकिन, चुनावी हलफनामे में झूठी जानकारी देने का आरोप लगने के बाद उनके चुनाव लड़ने को लेकर आशंकाएं गहराने लगी हैं.
अब्बास अंसारी ने मऊ सदर विधानसभा सीट से चुनाव लड़ने का फैसला किया है. अब्बास ने सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी (SBSP) के उम्मीदवार के तौर पर अपना नामांकन कराया है. मुख्तार अंसारी इस सीट से 5 बार विधायक निर्वाचित हुए हैं. पर्चा दाखिल करने के साथ ही अब्बास अंसारी ने हलफनामा भी दाखि किया था. इसमें उन्होंने लाइसेंसी असलहे को लेकर भी जानकारी दी है. अब्बास अंसारी ने नई दिल्ली से शस्त्र लाइसेंस लिया था. उन्होंने अपने हलफनामे में कहा है कि उत्तर प्रदेश पुलिस ने उनका आर्म्स लाइसेंस निरस्त कर दिया है. तथ्य यह है कि अब्बास अंसारी का शस्त्र लाइसेंस दिल्ली पुलिस ने निरस्त किया था. इसके अलावा अब्बास पर लखनऊ के महानगर थाने में एफआईआर दर्ज है. STF इस मामले की जांच कर रहा है.
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